भारत में गर्मी के मौसम का आगमन लोगों के लिए एक चुनौतीपूर्ण समय होता है। गर्मी के दिनो में धूप में रहना आसान नहीं होता और यह स्वास्थ्य के लिए भी हानिकारक हो सकता है। इस साल भारत में अत्यंत गर्म मौसम की स्थिति बनी दिख रही है। इसका मुख्य कारण भारत के भूगोलिक स्थान, बदलती पर्यावरण की स्तिथि, बढ़ता प्रदूषण और बेशुमार होती हुई पेड़ों की कटाई यही है।

India Meteorological Department (IMD) ने भारत मे Heat Wave के बारे मे Warning दी है, जिसमे राजस्थान, पश्चिम मध्य प्रदेश, गुजरात क्षेत्र, सौराष्ट्र और कच्छ के अलग-अलग स्थानों पर आने वाले कुछ दिनों मे उष्ण लहर की संभावना है ऐसा बताया गया है।

ऐसे में देश के विभिन्न भागों में उच्च तापमान, अधिक धूप और कम पानी की वज़ह से लोगों को कई स्वास्थ्य सम्बंधी समस्याओं का सामना करना पड़ता है। इस समय के दौरान लोगों को जलन, दर्द, असुविधा, उबाशी, चक्कर आना, थकावट, ज्वर, डायरिया, खुजली, चार्बी का अधिक बढ़ना, पसीने का अधिक निकलना और अत्यधिक पानी की कमी जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। इसलिए, गर्मी के मौसम में स्वास्थ्य की देखभाल का ध्यान रखना अत्यंत महत्त्वपूर्ण होता है।

Heat Wave और स्वास्थ्य सम्बंधी समस्याओं से बचाव के 6 तरीके

1. अधिक मात्रा में करे पानी का सेवन:

Heat Wave Warning

गर्मियों के मौसम में अपने शरीर को ठंडा रखने का सबसे सरल और सबसे महत्त्वपूर्ण तरीक़ा है पानी पीना। गर्मी के मौसम में पानी की सही मात्रा बहुत महत्त्वपूर्ण होती है। आपको हमेशा हाइड्रेटेड रहना चाहिए, इसलिए रोजाना कम से कम 8-10 गिलास पानी पीना अत्यंत आवश्यक होता है। स्थानीय शरबत और नारियल पानी भी फायदेमंद होते हैं। पानी शारीरिक ताज़गी और ऊर्जा को बनाए रखने में मदद करता है और त्वचा की सुरक्षा भी करता है।

2. विशेष ध्यान रखें अपने आहार पर:

गर्मी के मौसम में आपको हल्का और पाचनशील आहार खाना चाहिए। संतुलित आहार खाने से हमारे शरीर को विभिन्न पोषक तत्व मिलते हैं और हमारी पाचन शक्ति भी बढ़ती है। इसके लिए हमें फल, सब्जियाँ, अनाज, दालें और प्रोटीन युक्त आहार का सेवन करना चाहिए। ताजे फलों और सब्जियों का सेवन करना बहुत महत्त्वपूर्ण है। ये हमें विटामिन्स, मिनरल्स और एंटीऑक्सीडेंट्स प्रदान करते हैं जो हमें गर्मी के मौसम में स्वस्थ और फिट रखने में मदद करते हैं।

गर्मियों में ठंडे पदार्थों का सेवन करना भी फायदेमंद होता है। ठंडे दूध, छाछ, लस्सी, अनार का रस, आम पनीरी, आदि शरीर को ठंडा रखने में मदद करते हैं और लू से बचाव करते हैं।

गर्मियों में बाहरी खाद्य का सेवन करने के कई नुक़सान हो सकते हैं, जिसे हमें ध्यान में रखना चाहिए। जैसे कि-

a. हाइजीनिक समस्याएँ: गर्मियों में खाने का सामान धूप या गर्मी में रखा जाता है, जिससे उसमें बैक्टीरिया और अन्य कीटाणुओं का विकास हो सकता है। इससे पेट सम्बंधी समस्याएँ हो सकती हैं।

b. उच्च तेल और मसालों का सेवन: बाहरी खाद्य अक्सर अत्यधिक तेल और मसाले का प्रयोग करके बनाया जाता है, जो पाचन तंत्र को प्रभावित कर सकता है। यह गर्मियों में पेट और गले की समस्याओं का कारण बन सकता है।

c. खाने की गुणवत्ता का अभाव: बाहरी खाद्य अक्सर पैकेजिंग और वितरण की वज़ह से कम गुणवत्ता का होता है, जिससे आपके शरीर को उसकी आवश्यक ऊर्जा और पोषण की कमी हो सकती है।

3. धूप से बचाव:

गर्मी के दिनों में सूरज की तेज किरणें हमारे जीवन को बहुत प्रभावित कर सकती हैं। इसलिए, स्वास्थ्य के लिए महत्त्वपूर्ण है कि हम समय-समय पर सूरज की तेज किरणों से बचें और उनके नकारात्मक प्रभावों से अपने आप को सुरक्षित रखें। धूप में जाते समय हमेशा टोपी और सनस्क्रीन का इस्तेमाल करें। सूर्य की तेज किरणें त्वचा को नुक़सान पहुँचा सकती हैं, जैसे कि जलन, सूजन, या त्वचा के कालेपन का कारण बन सकती हैं। इसलिए, धूप में बाहर जाने से पहले सूर्य संरक्षण क्रीम का उपयोग करें और अपनी त्वचा को संरक्षित रखें।

4. व्यायाम का अभ्यास:

गर्मी के मौसम में व्यायाम करना अत्यंत महत्त्वपूर्ण होता है। लेकिन, ध्यान रहे कि आप धूप में या गर्मी में अधिक व्यायाम न करें। सुबह या शाम के समय शांत माहौल में व्यायाम करें। व्यायाम करने से हमारे शारीरिक ऊर्जा का स्तर बढ़ता है, जिससे हमें गर्मियों में लालित्य और थकान की कमी होती है। इसके अलावा, व्यायाम करने से हमारी मांसपेशियों का दबाव कम होता है और हमारी शारीरिक लाचीलापन बढ़ता है।

5. अपने पैरों की देखभाल:

गर्मी के मौसम में अपने पैरों की देखभाल करना भी महत्त्वपूर्ण है। धूप में चलने से बचें और जब भी संभव हो, चप्पल या जूते पहनें। गर्मियों में खुले और हल्के जूते पहनें, जो पैरों को ठंडा रखें और हवा को प्रवाहित करें। टाइट और बंद जूते पहनने से पैरों में गर्मी का अनुभव हो सकता है। दिन भर के काम के बाद, रात को पैरों को गर्म पानी और नमक के साथ धोकर स्वच्छ करें। इससे पैरों के कीटाणुओं को मारने में मदद मिलती है।

6. नियमित चेकअप:

गर्मी के मौसम में स्वास्थ्य का ख़्याल रखना अत्यंत महत्त्वपूर्ण होता है। विभिन्न स्वास्थ्य सम्बंधित परीक्षण जैसे कि शरीर की सामान्य जाँच, ब्लड टेस्ट, यूराइन जाँच और विटामिन डी की जाँच भी गर्मियों में स्वास्थ्य जाँच के महत्त्वपूर्ण हिस्से हैं। ये जाँचें हमें शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य की स्थिति को समझने में मदद करती हैं और समस्याओं की संभावित पहचान करने में मदद करती हैं।

सारांश

भारत में बनी अत्यंत गर्म मौसम की स्थिति काफ़ी चिंतदायक है, ऐसे में स्वास्थ्य की देखभाल का ध्यान रखना अत्यंत महत्त्वपूर्ण है। इसलिए अधिक मात्रा में करे पानी का सेवन करना, हल्का और पाचनशील आहार खाना, धूप से खुदका बचाव करना आदि तरीके बहुत फायदेमंद साबित होते है। अगर किसी स्वास्थ्य सम्बंधी गंभीर समस्या हो तो तुरंत अपने नजदीकी डॉक्टर्स से चेकअप कराए।

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